सफल उद्यमी बनने की राह पर तुरेनार की महिलाएं, रेशम धागाकरण यूनिट की महिलाओं ने हासिल की अपनी पहली कमाई

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रेशम धागा बेचकर महिलाओं की 40 हजार से ज्यादा की कमाई, रीपा से मिला उद्यमी बनने का साहस

राज्य शासन की पहल और जिला प्रशासन की मदद से उद्यमी बन रही हैं बस्तर की महिलाएं, अपनी मेहनत से की 40 हजार रुपए की पहली कमाई

समदर्शी न्यूज़ ब्यूरो, जगदलपुर

बस्तर जिला के तुरेनार रीपा सेंटर की महिलाएं सफल उद्यमी बनने की राह पर निकल पड़ी हैं। दरअसल तुरेनार के रूरल इंडस्ट्रियल पार्क, RIPA के रेशम धागाकरण समिति की महिलाओं ने 40 हजार 243 रुपए की कमाई की है। इन महिलाओं ने 17 किलो 540 ग्राम रेशम धागा 2300 रुपए की दर से बेचा है, इसके साथ ही बुनियादी धागा 6000 रुपए की दर से तय किया गया। अपनी पहली कमाई से महिलाएं काफी खुश नजर हैं और दोगुने उत्साह से काम करने को आतुर भी।

इस सेंटर में काम करने वाली गायत्री अपने अनुभव के बारे में बात करते हुए कहती हैं कि उन्हें रीपा में काम करके अच्छा लग रहा है। उन्हें कुछ नया करने का मौका मिला ये अच्छी बात है। गांव में ही काम मिल रहा है और बाहर परेशानी नहीं उठानी पड़ती है। उनके जैसी कई महिलाएं यहां काम कर खुश हैं।

बता दें कि ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती देने की मंशा से राज्य सरकार ने रीपा यानी कि रूरल इंडस्ट्रियल पार्क की शुरुआत की है। राज्य सरकार की पहल और जिला प्रशासन की मेहनत से बस्तर के तुरेनार में 5 एकड़ में ग्रामीण औद्योगिक पार्क ‘रीपा‘ तैयार किया गया है। यह पूरे देश का पहला ग्रामीण औद्योगिक पार्क है। छत्तीसगढ़ शासन द्वारा पहले चरण में प्रदेश के सभी विकासखण्डों में दो-दो ग्रामीण औद्योगिक पार्क तैयार किए जा रहे हैं, जिनमें तुरेनार में प्रदेश का सबसे पहला रीपा बनकर तैयार हो गया है, जो प्रदेश का सबसे सबसे बड़ा रीपा भी है।

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