जशपुर जिले में सुपोषण के नोडल अधिकारी अपने चिन्हांकित गांव पहुंचकर पालकों को कर रहे हैं जागरूक

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सुपोषण चौपाल में कुपोषित बच्चों को अंडा दूध,केला हरी साग सब्जी खिचड़ी, हलवा और पोष्टिक आहार की दे रहे जानकारी

बच्चों को खाना खिलाने से पहले अपने हाथ और खाने के बर्तन साफ करने की दी गई समझाइश

समदर्शी न्यूज़ ब्यूरो, जशपुर

कलेक्टर डॉ. रवि मित्तल के मार्गदर्शन में  जिले में कुपोषण के स्तर में कमी लाने, 0-5 वर्ष आयुवर्ग के बच्चों को कुपोषण से मुक्त कराने, जनभागीदारी को बढ़ावा देने और एनीमिया मुक्त अभियान को सफल बनाने  सुपोषण चौपाल कार्यक्रम का आयोजन  जिला स्तर पर किया जा रहा है। जिला स्तरीय 50 अधिकारियों को नोडल अधिकारी नियुक्त किया है। अधिकारियों द्वारा अपने चिन्हांकित गांव गांव में जाकर सरपंच पंच जनप्रतिनिधियों, पर्यवेक्षक , एनएम, मितानिन की उपस्थिति में सुपोषण चौपाल लगाकर बच्चों के पालकों को जागरूक किया जा रहा है।

उन्हें बताया जा रहा है कि कुपोषित बच्चों को पतला आहार न दे उन्हें भोजन में गाढ़ा और मुलायम भोजन देने के लिए कहा है। भोजन में आयोडीन नमक का ही उपयोग करने के लिए कहा है। प्रतिदिन कम से कम एक पका हुआ मौसमी फल थोड़ा थोड़ा खिलाने के कहा गया अधिकारियों ने पालकों को समझाइश देते हुए बताया कि बच्चों को खाना खिलाने से पहले हाथ और बर्तन को अच्छी से तरह से साफ करना चाहिए। बच्चों को हमेशा ताजा नाश्ता और भोजन दें ।रेडी टू ईट, खिचड़ी और हलवा भी सप्ताह में देने के लिए कहा। अंडा दूध नियमित बच्चों को देना चाहिए। सब्जी में हरी साग सब्जी का ज्यादा उपयोग करने के लिए कहा है। अधिकारियों ने पालकों को बताया कि कुपोषित बच्चों को एनआर सी सेंटर में अनिवार्य रूप से भर्ती करें।

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