समूह को 50 हजार रुपए से अधिक  का हुआ है आमदनी

समदर्शी न्यूज़ ब्यूरो, जशपुर

राज्य सरकार द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं से सभी वर्ग का हित हो रहा है।  इन योजनाओं से  खास कर  महिलाओं की रचनात्मक क्षमता को बढ़ाने के साथ उनकी सृजन क्षमता को स्थानीय संसाधनों के साथ जोड़ा गया है। गौठानों में स्व सहायता समूह की महिलाएं विभिन्न आजीविका मूलक गतिविधियों से जुड़कर आत्मनिर्भर बन गई है। ग्रामीण क्षेत्रों में निवासरत महिलाओं को समूह के रूप में गठित कर रोजगार से जोड़े जाने की अति महत्वाकांक्षी योजना है। महिलाएं राज्य आजीविका मिशन से जुड़कर सफलता की नयी कहानियां लिख रहीं है, तथा अपने सपने का पंख दे कर नयी उड़ान के लिए तैयार है।

इसी कड़ी में जिले के मनोरा ग्राम में माँ गंगा स्व सहायता समूह द्वारा मसाला कुटाई, मसाला उद्योग का संचालन किया जा रहा है। जिसमें हल्दी, धनिया, मिर्च, गरम मसाला का उत्पादन किया जा रहा है। स्व सहायता समूह की महिलाएं एक साल में एक लाख रुपये तक का मसाला निर्माण कर बेच चुकी हैं। स्व सहायता समूह द्वारा सी-मार्ट, लोकल मार्केट, हाट बाजार, सुपर मार्ट अलावा समय-समय पर होने वाले उत्सव मेला, गोठान मेला, सरस मेला में विक्रय किया जाता है। स्व-सहायता समूह की अनीता, प्रभा, पूनम नायक, कमला भण्डारी सहित कुल 10 महिलायें मसाला कुटाई मशीन  द्वारा मसाला निर्माण कर रहे है। “बिहान“ छ.ग राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन  योजना अंतर्गत् समूह गठन के तीन माह पश्चात् 15000 रू. अनुदान राषि तथा छः माह पश्चात् 60000 रू. प्राप्त हुआ। आगे चल कर 12 माह बाद बैंक लिंकेज की राषि 200000 रू. ऋण के रूप में प्राप्त हुआ। इसी ऋण राशि से 20000 रू. के लागत के साथ मसाला कुटाई किया गया तथा 70000 रू. का बिक्री किया जा चूका है। जिससे समूह की शुद्ध आय 50000 रुपये  हो गई है।

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