सांसद सुनील सोनी ने कहा लोकतंत्र के सच्चे ‌रक्षक होते तो इनके नेता जेल में नहीं होते, इंडी एलायंस को देश की न्याय व्यवस्था पर विश्वास नहीं है

सांसद सुनील सोनी ने कहा लोकतंत्र के सच्चे ‌रक्षक होते तो इनके नेता जेल में नहीं होते, इंडी एलायंस को देश की न्याय व्यवस्था पर विश्वास नहीं है

March 31, 2024 Off By Samdarshi News

समदर्शी न्यूज़, रायपुर : रायपुर सांसद सुनील सोनी ने आज दिल्ली के रामलीला मैदान में इंडी एलायंस की लोकतंत्र बचाओ रैली को नौटंकी करार देते हुए कहा कि तथाकथित लोकतंत्र बचाओ रैली में 27 दलों के नेता जो एक मंच पर आए हैं उन पर भ्रष्टाचार के आरोप है। यदि इनका दामन पाक-साफ़ होता तो इनके नेता आज जेल में नहीं होते। उन्होंने कहा कि दरअसल इंडी एलायंस (घमंडिया गठबंधन) के वे नेता हैं जो बार-बार लोकतंत्र की दुहाई देते हुए, घड़ियाली आंसू बहाते हुए अपना और अपनी पार्टी के राजनीतिक अस्तित्व को बचाने झूठा प्रपंच रचकर देश की जनता से सहानुभूति बटोरने का प्रयास कर रहे हैं। पर ये शायद यह भूल गए कि देश की जनता अब जागरूक हो गई है इनके झांसों में आने वालीं नहीं है। दिल्ली का यही रामलीला मैदान है जिस पर खड़े होकर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने नेताओं को भ्रष्ट कहा था और आज खुद सारे भ्रष्टाचारी एक साथ एक मंच पर खड़े होकर लोकतंत्र बचाने की बात कर रहे हैं।

सांसद सुनील सोनी ने कहा कि देश अब बदल गया है जनता जागरूक हो गई है 2014 में जब से केन्द्र में भारतीय जनता पार्टी की सरकार बनी है नरेन्द्र मोदी जी प्रधानमंत्री बनें हैं भारत का नाम विश्व पटल पर रौशन हो रहा हैं। नये-नये कीर्तिमान स्थापित किए जा रहे हैं। पिछले 10 वर्षों में जब से नरेन्द्र मोदी जी प्रधानमंत्री बनें हैं भ्रष्टाचार का एक भी आरोप नहीं लगा है क्योंकि मोदी जी कहते हैं न खाऊंगा और ‌न खाने ‌दूंगा। मोदी जी की इसी नीति का अनुसरण भाजपा शासित राज्य भी कर रहे हैं। मोदी जी के दो कार्यकाल में ही भारत आज विश्व की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनी है और बहुत जल्द तीसरे पायदान पर पहुंच जाएगा। मोदी जी की भ्रष्टाचार पर स्पष्ट नीति है भ्रष्टाचारी जो भी हो उसको बख्शा नहीं जाएगा। अबकि बार 400 पार, फिर एक बार मोदी सरकार यह केवल नारा मात्र नहीं है यह‌ तो एक संकल्प है। सांसद सुनील सोनी ने इंडी एलायंस के नेताओं से सवाल किया कि क्या इनको देश की न्याय व्यवस्था पर विश्वास नहीं है, लोकतंत्र में आस्था नहीं है जो बार-बार झूठा प्रलाप करते हुए लोकतान्त्रिक व्यवस्था को अस्थिर करने का प्रयास करते रहते हैं।