शासकीय पूर्व माध्यमिक शाला – मटासी में शाला प्रवेश उत्सव के साथ आयोजित हुआ न्योता भोजन !

समदर्शी न्यूज़ – कुनकुरी : माध्यमिक शाला-मटासी में मुख्य अतिथि डीडीसी श्रीमती अनीता सिंह, विशिष्ट अतिथि बीडीसी श्रीमती काजल कुसवाहा, ‌भूतपूर्व बीडीसी एवं मंडल संयोजक श्री रामकृत नायक, संकुल प्राचार्य श्री बजरंग राम भगत एवं शाला समिति अध्यक्ष श्री विश्वनाथ नागवंशी एवं पालकगण की उपस्थिति में शाला प्रवेश उत्सव धूमधाम से मनाया गया। जिसमें सर्वप्रथम मुख्य अतिथि के द्वारा सरस्वती माता की फोटो पर सरस्वती पूजन एवं वंदन किया गया, उसके पश्चात मुख्य एवं विशिष्ट अतिथि के द्वारा नवप्रवेशी बच्चों को तिलक लगाकर, पुष्प गुच्छ भेंट कर सभी बच्चे को टोपी पहनाई गई। उसके पश्चात वहां उपस्थित पालक एवं छात्रों के द्वारा भी नवप्रवेशी बच्चों को तिलक लगाकर चाकलेट खिलाया गया, शाला के छात्रों द्वारा नवप्रवेशी बच्चों हेतु स्वागत गीत एवं नृत्य प्रस्तुत किया गया।

स्वागत के कार्यक्रम को आगे बढ़ाते हुए मुख्य एवं विशिष्ट अतिथि, प्रधान पाठक श्रीमती सरिता नायक द्वारा बच्चों को रसगुल्ले खिलाकर एवं पेन व कापी देकर उन्हें प्रोत्साहित किया गया, जिससे नवप्रवेशी बच्चे खुश होकर छत्तीसगढ़ का नाम चमकाबो पढ़ाया पढ़बओ नामक छत्तीसगढ़ी गीत गाया गया, बच्चों के गीत के पश्चात मुख्य अतिथियों के द्वारा नवप्रवेशी बच्चों को गणवेश एवं पुस्तक के साथ गुब्बारे भी भेंट किया गया, जिससे बच्चों एवं पालकों में एक अलग ही उत्साह दिखाई दिया। उसके पश्चात मुख्य अतिथि श्री अनीता सिंह के द्वारा कहा गया कि पढ़ाई कर साथ संस्कार और प्रतिदिन उपस्थिति जरूरी है, ताकि आपको रोज नया सीखने का अवसर प्राप्त होगा और मैं बार-बार स्कूल आप कितना पढ़ते हो देखने आउंगी कहकर बच्चों को समझाया गया।

बीडीसी श्रीमती काजल कुसवाहा जी के द्वारा बच्चे आप रोज आईये अच्छा पढ़ाई कीजिए और हमारे क्षेत्र व स्कूल का नाम रोशन कीजिए एवं मंडल संयोजक श्री रामकृत नायक के द्वारा बढ़िया पढ़ों डॉक्टर, इन्जीनीयर व शिक्षक बनो कहकर आशीष वचन दिया गया। कार्यक्रम में संकुल प्राचार्य श्री बजरंग राम भगत एवं शाला समिति अध्यक्ष श्री विश्वनाथ नागवंशी जी के द्वारा भी बच्चों को बताया गया कि प्राइवेट स्कूलों में फिस लेकर भी कोई छात्र प्रवीण-सूची में स्थान नहीं बना पाते, जब कि शासकीय स्कूलों के योग्य शिक्षक हमें डाक्टर इंजीनियर दे रहे हैं, इसलिए हमें शासकीय स्कूलों में ही पढ़ाई करना चाहिए समझाया गया।

कार्यक्रम के अन्त में प्रधान पाठक के द्वारा बच्चों के पालकों को धन्यवाद दिया गया कि उन्होंने अपने बच्चों को स्कूल में प्रवेश दिलाया एवं सभी अतिथियों का कार्यक्रम में उपस्थित होकर बच्चों का उत्साह बढ़ाने हेतु आभार व्यक्त किया एवं सभी को न्योता भोजन हेतु सभी को आमंत्रित कर सभी को न्योता भोजन खिलाया गया।

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