रंग परब : छत्तीसगढ़ की सांस्कृतिक विरासत का उत्सव, महंत घासीदास संग्रहालय में नाटकों के माध्यम से छत्तीसगढ़ की कहानी

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समदर्शी न्यूज़ रायपुर, 21 अगस्त/ छत्तीसगढ़ की समृद्ध सांस्कृतिक धरोहर को सहजने के उद्देश्य से छतीसगढ़ संस्कृति विभाग द्वारा ‘रंग पर्व’ नाट्य श्रृंखला का आयोजन 22 से 24 अगस्त 2024 तक रायपुर के मुक्ताकाश मंच, महंत घासीदास स्मारक संग्रहालय परिसर में किया जाएगा । इस तीन दिवसीय आयोजन में विभिन्न नाटकों के माध्यम से छत्तीसगढ़ की जनजातीय और लोक संस्कृति की झलक प्रस्तुत की जाएगी।

 ‘रंग परब‘ के पहले दिन 22 अगस्त को  ‘गोदना’ नामक नाटक में देवार जनजाति की जीवन शैली, कला और संस्कृति को दर्शाया जाएगा, जिसकी प्रस्तुति श्री गौतम चौबे द्वारा दी जाएगी। इसी प्रकार दूसरे दिन ‘कलंकार’ नामक नाटक में सामान्य लोक कलाकारों की सच्ची घटनाओं पर आधारित प्रस्तुति श्री नरेन्द्र जलन्धरिया द्वारा की जाएगी।  श्रृंखला के अंतिम दिन ‘आदिगाथा’ नामक नाटक के माध्यम से प्राचीन सीताबेंगरा की इतिहास और कालीदास के मेघदूत पर आधारित कला संस्कृति को प्रस्तुत किया जाएगा, जिसकी प्रस्तुतिश्री किशोर वैभव जायसवाल करेंगे।

इस नाट्य श्रृंखला का उद्देश्य छत्तीसगढ़ की सांस्कृतिक विरासत को संरक्षित और प्रोत्साहित करना है। इस नाट्य श्रृंखला की प्रस्तुति प्रतिदिन शाम 7 बजे से होगी।

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