जशपुर में पुलिस स्मृति दिवस का आयोजन : शहीदों को नमन कर दी गई श्रद्धांजलि…जशपुर में शहीद परिवारों को किया गया सम्मानित… विधायक, पुलिस अधीक्षक सहित गणमान्य नागरिक रहे उपस्थित.

जशपुर में पुलिस स्मृति दिवस का आयोजन : शहीदों को नमन कर दी गई श्रद्धांजलि…जशपुर में शहीद परिवारों को किया गया सम्मानित… विधायक, पुलिस अधीक्षक सहित गणमान्य नागरिक रहे उपस्थित.

October 21, 2024 Off By Samdarshi News

जशपुर, 21 अक्टूबर / जिला मुख्यालय जशपुर स्थित रक्षित केन्द्र जशपुर में आज दिनांक 21 अक्टूबर 2024 को आयोजित “पुलिस स्मृति दिवस” के कार्यक्रम में जशपुर विधायक श्रीमती रायमुनी भगत, जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती शांति भगत, पुलिस अधीक्षक श्री शशि मोहन सिंह, अपर कलेक्टर श्री प्रदीप साहू, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक श्री अनिल कुमार सोनी, श्री राकेश कुर्रे उप सेनानी 12 वीं बटालियन रामानुजगंज, पुलिस अनुविभागीय अधिकारी जशपुर श्री चंद्रशेखर परमा, नगर पालिका अध्यक्ष श्री राधेश्याम राम, पूर्व नगर पालिका पालिका अध्यक्ष श्री हीरू राम निकुंज, श्री सहस्त्रांषु पाठक, श्री अनोज गुप्ता, वरिष्ठ पत्रकार श्री प्रेमप्रकाश शर्मा, श्री आनंद गुप्ता, श्री रविन्द्र थवाईत, श्री संजीत कुमार उपस्थित थे।

इस अवसर पर पूरे जिले के कुल 56 शहीद परिवार को आमंत्रित किया गया था, परेड में छत्तीसगढ़ सशस्त्र बल के 02 प्लाटून जिनका मुख्य कमांड रक्षित निरीक्षक श्री अमरजीत खूंटे द्वारा किया गया एवं दोनों प्लाटून के कमांडर के रूप में छसबल के एपीसी सुधीर भगत एवं एपीसी नेलसन टोप्पो रहे।

पुलिस की टुकड़ी द्वारा शहीदों को सलामी दी गई, तत्पश्चात पूरे भारत में दिनांक 01 सितंबर 2023 से 31 अगस्त 2024 तक कर्तब्य की वेदी पर अपने प्राणों की आहुति देने वाले कुल 216 शहीदों के नाम का स्मरण कर कार्यक्रम में उपस्थित विभिन्न अधिकारीगणों एवं परिजनों द्वारा शहीद स्मारक पर पुष्प अर्पित कर श्रद्धांजलि दी गई।  

ज्ञातव्य है कि आज से 64 वर्ष पहले अक्टूबर 1959 में लद्दाख के दुर्गम क्षेत्र में भारतीय पुलिस की एक छोटी टुकड़ी के जवानों ने मातृभूमि की रक्षा करते हुए अपने प्राण न्यौछावर कर दिये थे, तभी से प्रति वर्ष 21 अक्टूबर को देश के कोने-कोने में दिवंगत शूरवीरों की स्मृति में पुलिस शहीद दिवस पर परेड़ का आयोजन किया जाता है। इस अवसर पर विधायक महोदय एवं पुलिस अधीक्षक ने शहीदों के परिजनों का सम्मान कर उनसे मिलकर उनका हाल-चाल जाना, शहीद के परिजनों से वार्तालाप किया गया कि हम सब एक परिवार के समान हैं, अपने आपको कभी अकेला न समझें, किसी भी किस्म की पारिवारिक, व्यक्तिगत अथवा आर्थिक समस्या हो तो अवगत करायें। समस्या के समाधान का सकारात्मक प्रयास निश्चित रूप से किया जावेगा। इसके पश्चात् शहीदों के परिजनों को पुलिस लाईन में भोजन कराया गया और उन्हें ससम्मान उनके गन्तव्य स्थान तक पहुंचाया गया।