कांग्रेस का घमासान सत्ता परिवर्तन का संकेत, कांग्रेस की गुटबाजी, अंतर्कलह की चरम सीमा सड़क पर दिख रही, कांग्रेस सरकार की विदाई और भाजपा की सत्ता में वापसी सुनिश्चित – नारायण चंदेल

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समदर्शी न्यूज़ ब्यूरो, रायपुर

छत्तीसगढ़ विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ प्रदेश में सत्ताधारी कांग्रेस पार्टी में जिस प्रकार का अंतर्विरोध और भारी गुटबाजी सड़कों पर देखने को मिल रही है, यह अंतर्विरोध की चरम सीमा है। प्रेमसाय सिंह टेकाम का यह बयान कि ‘इस्तीफा दिया नहीं जाता ले लिया जाता है’ स्वयं कहता ही कि छत्तीसगढ़ प्रदेश में सरकार के मंत्रियों से इस्तीफा लिया जा रहा है। उन्हें इस्तीफा देने के लिए बाध्य किया जा रहा है। यह इस बात का संकेत है कि कि कांग्रेस इस प्रदेश में किन हालातों से गुजर रही है। कांग्रेस में स्वेच्छाचारिता, हिटलरशाही और एकला चलो की नीति की यह परिणति देखकर हमें लग रहा है कि सत्ताधारी दल में जो परिवर्तन दिखाई दे रहा है, यह परिवर्तन छत्तीसगढ़ विधानसभा के आने वाले चुनाव में सत्ता के परिवर्तन का संकेत है। अब कांग्रेस की विदाई तय है और भारतीय जनता पार्टी की सत्ता में वापसी सुनिश्चित है।

नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल ने कहा कि कल प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष मोहन मरकाम हिटलरशाही के शिकार हो गए। आज अचानक मंत्रियों से इस्तीफे मांगे गए। कांग्रेस और उसकी सरकार में यह क्या उठापटक चल रही है। न संगठन अध्यक्ष पर भरोसा, न भूपेश बघेल सरकार के मंत्रियों पर भरोसा। यदि भूपेश बघेल के मंत्री निकम्मे हैं तो पौने पांच साल से उन्हें क्या सिर्फ भ्रष्टाचार करने के लिए रखा गया था। मंत्रियों के कार्य प्रदर्शन की जिम्मेदारी उनका नेतृत्व करने वाले मुख्यमंत्री की है। कांग्रेस आलाकमान मौजूदा मंत्रिमंडल को नकारा मान कर इस्तीफे दिलवा रहा है तो सबसे पहले मुख्यमंत्री भूपेश बघेल का इस्तीफा लेना चाहिए।

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