गुरु रुद्र कुमार के बयान पर बोले गुरु बालदास – जब कांग्रेस राज में हमारे समाज के बच्चों को नग्न प्रदर्शन करना पड़ा तब कहां थे गुरु रुद्र? जब भूपेश बघेल ने समाज के युवाओं को भौंकने वाला कहा तब गुरु रुद्र क्यों चुप रहे?
May 18, 2024घटना की सूक्ष्मता से होगी जांच,दोषियों पर होगी कड़ी कार्यवाही
समदर्शी न्यूज़, रायपुर : भारतीय जनता पार्टी ने गिरौदपुरी में जैतखाम को क्षति पहुँचाए जाने की घटना की निंदा करते हुए कहा है कि प्रदेश की भाजपा सरकार इस मामले की सूक्ष्मता से जाँच कर दोषियों पर कार्रवाई करेगी। भाजपा नेता व सतनामी समाज के धर्मगुरु संत बालदास साहेब ने इस घटना को लेकर कांग्रेस के प्रलाप को घड़ियाली आँसू बहाना बताया और कहा कि प्रदेश सरकार की तत्परता से इस घटना में अज्ञात लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर मामले की तहकीकात शुरू की जा चुकी है।
भाजपा नेता व धर्मगुरु संत बालदास साहेब ने कहा कि निहित राजनीतिक स्वार्थ साधने के लिए कांग्रेस के लोग तमाम तरह के ओछे हथकंडों पर पहले भी उतरते आए हैं। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और उससे पहले मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय का कूटरचित वीडियो वायरल करके कांग्रेस निम्न स्तर की राजनीति करती रही है। इसलिए भाजपा की सरकार इस घटना को लेकर इस पहलू से भी जाँच करेगी कि क्या यह सामाजिक सद्भाव बिगाड़ने का कांग्रेस का कोई टूलकिटिया षड्यंत्र है? संत बालदास ने कहा कि मामले की जाँच में इन सारे तथ्यों का खुलासा होगा और फिर जो भी दोषी होगा, वह बख्शा नहीं जाएगा। संत बालदास साहेब ने कहा कि आज जैतखाम को पहुँची क्षति को लेकर घड़ियाली आँसू बहा रहे प्रदेश के पूर्व मंत्री गुरु रुद्र कुमार यह न भूलें कि सतनामी समाज के साथ भेदभाव कर सामाजिक हितों को सबसे ज्यादा चोट कांग्रेस के शासनकाल में पहुँचाई गई।
भाजपा नेता और धर्मगुरु संत बालदास साहेब ने कहा कि भाजपा के शासनकाल में डॉ. रमन सिंह के मुख्यमंत्रित्व काल में कुतुबमीनार से भी ऊँचा जैतखाम बनाया गया और सतनामी समाज के साथ सतत सम्मानजनक व्यवहार किया गया। गुरु बालदास साहेब ने सवाल दागा कि जब कांग्रेस शासनकाल में अनुसूचित जाति वर्ग के युवकों को राजधानी की सड़कों पर नग्न प्रदर्शन के लिए मजबूर होना पड़ा था और तत्कालीन मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सतनामी समाज के युवाओं को सार्वजनिक रूप से भौंकने वाला कहकर अपमानित किया था तब रुद्रकुमार कहाँ थे? उस समय सतनामी समाज के आत्म-सम्मान के लिए उन्होंने क्यों नहीं आवाज उठाई?