हर्बल स्टेट बनने की ओर कदम बढ़ाता छत्तीसगढ़, तीन साल में ही साढ़े चार सौ गुना बढ़ा विक्रय, अगले वर्ष तक एक हजार गुना विक्रय बढ़ाने का हो रहा प्रयास

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समदर्शी न्यूज़ ब्यूरो,

रायपुर. कभी पिछड़े प्रदेश के रूप में पहचान रखने वाला छत्तीसगढ़ अब लगातार नई उपलब्धियों को हासिल कर रहा है। छत्तीसगढ़ राज्य की इन्हीं उपलब्धियों में यहां उत्पादित होने वाले हर्बल्स (औषधि) अब अहम भूमिका निभा रही है। एक ओर जहां सरकारी प्रयासों से स्थानीय बाजार समेत देश-दुनिया के दूसरे कोनों तक पहुंच रहे छत्तीसगढ़ के हर्बल्स रिकॉर्ड कायम करने की ओर है। वहीं दूसरी ओर छत्तीसगढ़ अब हर्बल स्टेट बनने की ओर भी कदम बढ़ा रहा है। यह न सिर्फ राज्य की एक अलग पहचान बनाने के लिए उल्लेखनीय है, बल्कि इससे वनवासियों की आर्थिक समृद्धि की भी हो रही है। बता दें कि राज्य लघु वनोपज सहकारी संघ के माध्यम से 150 से अधिक मूल्य वर्धित उत्पादों का उत्पादन किया जा रहा है।

हाल ही में सामने आए आँकड़ों पर गौर करें तो बीते तीन साल में ही छत्तीसगढ़ के हर्बल्स का विक्रय साढ़े चार सौ गुना बढ़ा है, जबकि राज्य शासन का लक्ष्य अगले वित्तीय वर्ष तक विक्रय को एक हजार गुना तक पहुंचाने का है। गौरतलब है कि राज्य में वित्तीय वर्ष 2019-20 में जहां सवा करोड़ (1.25 करोड़) रुपए मूल्य के हर्बल उत्पादों का व्यापार छत्तीसगढ़ ने किया था। वहीं वर्ष 2020-21 में दो करोड़ 15 लाख रुपए का और चालू वित्तीय वर्ष 2021-22 के सिर्फ 9 महीने में ही 4 करोड़ 34 लाख रुपए मूल्य के हर्बल उत्पादों की राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय मार्केट में बिक्री हो चुकी है।

संजीवनी केंद्रों व श्री धनवन्तरी जेनेरिक मेडिकल स्टोर्स में भी उपलब्धता :

बता दें कि छत्तीसगढ़ में उपलब्ध औषधीय पौधों के संग्रहण और प्रसंस्करण का काम विशेष तौर से वनवासी करते हैं। वहीं वन क्षेत्रों में महिला स्व-सहायता समूह द्वारा भी हर्बल उत्पादों को तैयार किया जा रहा है। राज्य शासन ने इन हर्बल उत्पादों को ‘छत्तीसगढ़ हर्बल्स’ ब्रांड नेम दिया और इन उत्पादों की बिक्री को बढ़ावा देने के लिए नई रणनीतियों को अपनाया। इस कड़ी में प्रदेश के सभी जिलों में 30 संजीवनी केंद्र प्रारंभ किए गए, जहां से छत्तीसगढ़ में उत्पादित और निर्मित हर्बल उत्पादों की बिक्री की जा रही है। इसके अलावा श्री धनवन्तरी जेनेरिक मेडिकल स्टोर्स में भी छत्तीसगढ़ हर्बल्स की बिक्री सुनिश्चित की गई है। 

फेस्टिवल्स का अहम हिस्सा बने छत्तीसगढ़ के हर्बल्स :

छत्तीसगढ़ हर्बल्स न सिर्फ संजीवनी केन्द्रों तक सीमित है, बल्कि देश के दूसरे राज्यों से लेकर अंतर्राज्यीय स्तर पर आयोजित होने वाले अनेक फेस्टिवल्स में भी छत्तीसगढ़ हर्बल्स की मौजूदगी देखने को मिल रही है। छत्तीसगढ़ हर्बल्स ने दुबई में अंतर्राष्ट्रीय गल्फ फूड फेस्टिवल, दिल्ली में इंटरनेशनल इंडस फूड इवेंट, दिल्ली में ट्राइबल फेस्टिवल, भोपाल में इंटरनेशनल हर्बल फेयर, छत्तीसगढ़ दिवाली हाट मेला, राज्योत्सव और मॉल में प्रदर्शनियों में छत्तीसगढ़ हर्बल्स के स्टॉल लगे। इसके अलावा भी कई सरकारी और निजी संगठनों द्वारा आयोजित विभिन्न महत्वपूर्ण कार्यक्रमों में भी छत्तीसगढ़ हर्बल्स के स्टॉल शामिल होते हैं।

ऑनलाइन शॉपिंग प्लेटफार्म पर भी कराया जा रहा उपलब्ध :

छत्तीसगढ़ हर्बल्स की बिक्री में अमेजन और फ्लिपकार्ट जैसे ऑनलाइन शॉपिंग प्लेटफॉर्म का भी योगदान अहम रहा है। ऑनलाइन सेल्स व शॉपिंग प्लेटफार्म के माध्यम से देश के अन्य राज्यों के साथ विदेशों से भी ऑर्डर मिल रहे हैं। छत्तीसगढ़ हर्बल्स में अनाज, मसाले, कुकीज, पर्सनल केयर आइटम आदि जैसी नई उत्पाद श्रृंखला के जुड़ने से ग्राहकों को खरीदारी करने के लिए व्यापक रेंज मिली।

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