विधिक सेवा शिविर के माध्यम से नागरिको को मूल कर्तव्यों के संबंध में दी गई जानकारी

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समदर्शी न्यूज़ ब्यूरो, जशपुर

जिला एवं सत्र न्यायाधीश श्रीमति अनिता डहरिया ने विधिक सेवा शिविर का आयोजन कर नागरिकों को मूल कर्तव्यों की जानकारी दी। श्रीमति डहरिया ने बताया कि भारतीय संविधान के 42वंे संशोधन के अधिनियम 1976 द्वारा अध्याय 4(क) भारतीय संविधान में जोड़ा गया जिसमें भारतीय संविधान के अनुच्छेद 51-ए जोड़ा गया। जिसके तहत नागरिकों के लिए अनेक मूल कर्तव्य बताए गए। जिसके अंतर्गत पहला कर्तव्य है कि प्रत्येक नागरिक संविधान का पालन करें तथा उसके आदर्शाे, संस्थाओं, राष्ट्रध्वज तथा राष्ट्रगान का आदर करें। उन्होंने बताया कि प्रत्येक नागरिक का यह भी मूल कर्तव्य है कि वह सार्वजनिक संपत्ति को सुरक्षित रखें और हिंसा से दूर रहे। यदि कोई सरकारी कर्मचारी डयूटी पर है और उस पर कोई हमला करता है तो हमला करने वाला व्यक्ति भारतीय दंड संहिता के तहत दण्डनीय होगा तथा यदि डयूटी पर किसी भी सरकारी सेवक के साथ मारपीट की जाती है तो मारपीट करने वाला व्यक्ति भारतीय दंड संहिता के तहत दंण्डनीय होगा तथा यदि किसी भी सरकारी सेवक को ड्यूटी के दौरान उसके पदीय कर्तव्यो में बाधा डाली जाती है तो दोषी व्यक्ति भारतीय दंड संहिता के तहत दण्डनीय होगा।

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